ऐसी भौतिक राशियाँ, जिनमें परिमाण के साथ-साथ दिशा भी रहती है,उन्हें सदिश राशि कहते हैं।
कुछ महत्वपूर्ण सदिश राशियां-
वेग, विस्थापन, बल, त्वरण, भार, विद्युत क्षेत्र, बलआघूर्ण,चुम्बकीय क्षेत्र तीव्रता, चुम्बकीय आघूर्ण तीव्रता, चाल प्रवणता, ताप प्रवणता, विद्युत तीव्रता, घनत्व आदि।
दूरी:-
किसी वस्तु या व्यक्ति द्वारा तय किए गए पथ की कुल लंबाई को दूरी कहते हैं।
इसका मात्रक मीटर प्रति सेकंड और यह एक अदिश राशि है। दूरी सदैव धनात्मक होती है।
विस्थापन:-
वस्तु की प्रारंभिक व अंतिम स्थिति के बीच की न्यूनतम दूरी को उस वस्तु का विस्थापन कहते है।
क्योंकि चली गयी दूरी में परिमाण होता है जबकि विस्थापन में परिमाण के साथ-साथ दिशा भी होती है इसीलिए यह एक सदिश राशि है। इसका मात्रक मीटर प्रति सेकंडहोता है।
विस्थापन धनात्मक, ऋणात्मक और शून्य भी हो सकता है।उदाहरण:- 1. अगर कोई व्यक्ति P बिन्दु से चल कर गोलाकार मार्ग तय करते हुए P बिन्दु पर आ जाता है तो उसे उसके द्वारा तय की गई दूरी वृत के परिधि (Perimeter) के बराबर (2πR) के बराबर होगी जबकि विस्थापन शुन्य होगा।
गति:-
Speed
किसी वस्तु द्वारा इकाई समय में तय की गई दूरी, गति कहलाती है।
गति सदा सापेक्ष होती है,एक वस्तु दूसरी वस्तु को स्थिर दिखाई दे सकती है लेकिन वह किसी तीसरी वस्तु को गति की अवस्था में दिखाई दे सकती है। अतः हम कह सकते हैं कि गति सदा सापेक्ष होती है।
गति तीन प्रकार की होती है-
(i) स्थानान्तरीय गति/रेखीय गति :-
जब कोई वस्तु किसी सीधी रेखा में गति करती है तो उसे स्थानान्तरीय गति कहते हैं।
(ii) घूर्णन गति :-
जब कोई वस्तु किसी पिण्ड के चारों ओर घूमता है तो उसे घूर्णन गति कहते हैं।
(iii) कम्पनीय गति:-
जब कोई पिण्ड किसी निश्चित बिन्दु के इधर-उधर गति करता है तो उसे कम्पन गति कहते हैं।
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